पाकिस्तान को मिली बड़ी राहत, मदद को तैयार हुई ये अंतरराष्ट्रीय संस्था
भयंकर आर्थिक संकट से जूझ रहे पाकिस्तान को के लिए बड़ी राहत की खबर है. पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान काफी समय से अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) से कर्ज के लिए प्रयास कर रहे थे. पाकिस्तान के प्रधानमंत्री की अपील को IMF ने स्वीकार कर लिया है.
पाकिस्तान की खराब आर्थिक हालत को देखते हुए अंतरराष्ट्रीय मुद्राकोष कर्ज देने को तैयार (फाइल फोटो)
पाकिस्तान की खराब आर्थिक हालत को देखते हुए अंतरराष्ट्रीय मुद्राकोष कर्ज देने को तैयार (फाइल फोटो)
भयंकर आर्थिक संकट से जूझ रहे पाकिस्तान को के लिए बड़ी राहत की खबर है. पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान काफी समय से अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) से कर्ज के लिए प्रयास कर रहे थे. पाकिस्तान के प्रधानमंत्री की अपील को IMF ने स्वीकार कर लिया है. पाकिस्तान और IMF के बीच रविवार को एक समझौता हुआ, जिसके तहत आईएमएफ खस्ताहाल अर्थव्यवस्था वाले इस देश को तीन वर्षों में छह अरब डॉलर का ‘बेलआउट पैकेज’ देगा.
अंतिम मंजूरी मिलना है बाकी
पाकिस्तानी के बड़ें अखबार ‘डॉन न्यूज’ ने प्रधानमंत्री इमरान खान के सलाहकार डॉ अब्दुल हफीज शेख के हवाले से अपनी एक खबर में कहा है कि इस समझौते को अभी वाशिंगटन में IMF बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स की औपचारिक मंजूरी मिलनी बाकी है.
अर्थव्यवस्था की वृद्धि दर आधी रही
गौरतलब है कि पाकिस्तान की इकोनॉमी की वृद्धि दर 2018-19 से लक्ष्य से लगभग आधी लगभग 3.3 फीसदी रही जो 6.2 प्रतिशत के लक्ष्य के आधे से कुछ ही ऊपर है. प्रधानमंत्री इमरान खान सरकार के कार्यकाल के पहले साल में सभी प्रमुख क्षेत्रों का प्रदर्शन कमजोर रहा.
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आर्थिक संकट से निकलने के हो रहे हैं प्रयास
आर्थिक वृद्धि दर के आंकड़े ऐसे समय आए हैं जबकि पाकिस्तान की तहरीक-ए-इंसाफ सरकार अंतरराष्ट्रीय मुद्राकोष (आईएमएफ) से राहत पैकेज के लिए बातचीत कर रही है जिससे देश को आर्थिक संकट से बाहर निकाला जा सके.
जारी हुए ये आंकड़े
पाकिस्तान के योजना, विकास और सुधार सचिव जफर हसन की अगुवाई में राष्ट्रीय लेखा समिति की समीक्षा बैठक में 2018-19 के आंकड़े जारी किए. रिपोर्ट में कहा गया है कि सरकार को कृषि क्षेत्र में 3.8 प्रतिशत, उद्योग में 7.6 प्रतिशत और सेवा में 6.5 प्रतिशत की वृद्धि की उम्मीद थी जिस वजह से यह 6.2 प्रतिशत का लक्ष्य तय किया गया था.
कृषि वृद्धि दर 0.85 फीसदी रही
रिपोर्ट में बताया गया है कि लक्ष्य की तुलना में कृषि क्षेत्र की वृद्धि दर मात्र 0.85 प्रतिशत रही. उद्योग और सेवा क्षेत्र की वृद्धि दर क्रमश: 1.4 प्रतिशत और 4.7 प्रतिशत रही.
09:25 AM IST